जोशीमठ, पोखरी, दशोली और नारायणबगड़ में सबसे कम लिंगानुपात

 जोशीमठ, पोखरी, दशोली और नारायणबगड़ में सबसे कम लिंगानुपात
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  • डीएम ने कम लिंगानुपात वाले क्षेत्रों में सुधार के लिये कार्रवाई के दिये निर्देश

गोपेश्वर, 3 दिसम्बर (स.ह.) : जिला प्रशासन की ओर से शुक्रवार को पीसीपीएनडीटी जिला सलाहकार समिति की बैठक आयोजित की गई। बैठक की अध्यक्षता करते हुए डीएम हिमांशु खुराना ने अधिकारियों को जिले में लिंगनुपात सुधार के लिये एक्ट के कडाई से पालन के निर्देश दिये।
बैठक में सीएमओ ने जानकारी दी की वर्ष 2019 में जिले में 0-6 वर्ष के बच्चों का लिंगानुपात 933 था जो वर्ष 2020 में बढकर 953 हुआ है। सबसे कम लिंगानुपात जोशीमठ में 844, पोखरी में 933, दशोली में 934 तथा नारायणबगड में 938 है। जबकि देवाल में 947, थराली में 950, कर्णप्रयाग में 963 तथा घाट में 998 है। जिले में कुल 18 अल्ट्रासाउंड केन्द्र पंजीकृत है जिसमें से 8 केन्द्र सील है। जबकि 6 सरकारी और 4 प्राइवेट अल्ट्रासाउंड केन्द्र संचालित हो रहे है। बैठक में सीएचसी जोशीमठ में खराब अल्ट्रासाउंड मशीन को बदलने पर सहमति जताई गई। वहीं उप जिला चिकित्सालय कर्णप्रयाग में शल्य चिकित्सा के मरीजों का अल्ट्रासाउंड करने की अनुमति चाहने के लिये डा राजीव शर्मा के आवेदन पर डीएम ने एक्ट के तहत कार्रवाई करने के निर्देश दिए। इस दौरान डीएम ने कमेटी को अल्ट्रासाउंड केन्द्रों पर निगरानी रखने, भू्रण परीक्षण की सूचना पर अल्ट्रासाउंड केंद्र सीज करने और भ्रूण परीक्षण की जानकारी देने वालों को पुरस्कृत करने की व्यवस्था बनाने के निर्देश दिये। इस मौके पर सीएमएस डा. जीएस राणा, एसीएमओ डा. उमा रावत, डा. मानस सक्सेना, प्रकाश भण्डारी, उमा शंकर बिष्ट आदि मौजूद थे।

 

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